भारत रत्न पुरस्कार - सामान्य ज्ञान (General Knowledge)
- इस पोस्ट के जरिए हम आपके सामने Bharat Ratn Award / सम्मान के बारे में Important Info / General Knowledge साझा करने वाले हैं। जो जानकारी अक्सर प्रतियोगी परीक्षाओं (Competitive Exam) में पूछी जा सकती हैं।

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भारत रत्न पुरस्कार - सामान्य ज्ञान

'Bharar Ratn Award' भारत देश का सर्वोच्च नागरिक पुरस्कार है।

 भारत के उस वक्त के तत्कालीन राष्ट्रपति श्री राजेंद्र प्रसाद द्वारा इस पुरस्कार की स्थापना 2 January 1954 में की गई थी।

 इस पुरस्कार से उन व्यक्तियों को सम्मानित किया जाता है, जिन्होंने देश के किसी भी क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्य (Excellent Work) करते हुए देश का गौरव International Level पर बढ़ाया हो।

 यह पुरस्कार कला, साहित्य, विज्ञान, खेलकूद, राजनीतिज्ञ, विचारक, वैज्ञानिक, उद्योगपति, लेखक और समाजसेवी को असाधारण सेवा के लिए तथा उच्च लोक सेवा को मान्यता देने के लिए भारत सरकार की ओर से दिया जाता है।

 भारत रत्न पदक पीपल के पत्ते की तरह होता है। जो लगभग 59 mm लम्बा, 48 mm चौड़ा और 3.2 mm पतला रहता है।

 भारत रत्न पदक ठोस Copper से बना होता है। इसके ऊपरी भाग में Platinum से सूर्य की उभरती हुई आकृति बनाई होती है तथा Silver से नीचे उभरते हुए हिंदी अक्षरों में 'भारतरत्न' लिखा होता है।

 भारत रत्न पुरस्कार पाने वाले व्यक्ति को Certificate & medal दिया जाता है। इसके साथ कोई रकम / राशी नहीं दी जाती।

 भारत रत्न प्राप्तकर्ता को भारतीयता के पूर्व क्रम (Indian Order Of Precedence) में 7वां स्थान प्राप्त है।

 भारत रत्न प्राप्त करने वाले व्यक्ति को भारत सरकार Warrant Of president में जगह देती है। जिसके तहत उन्हें Protocol में राष्ट्रपति, उपराष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, राज्यपाल, पूर्व राष्ट्रपति, उपप्रधानमंत्री, मुख्य न्यायाधीश, लोकसभा स्पीकर, कैबिनेट मंत्री, मुख्यमंत्री, पूर्व प्रधानमंत्री और संसद के दोनों सदनों में विपक्ष के नेता के बाद जगह मिलती है।

 भारत रत्न के शुरुआती समय में इस सम्मान से केवल जीवित व्यक्तियों को ही सम्मानित करने का प्रावधान था। लेकिन 1955 के बाद मरणोपरांत भी भारत रत्न देने का प्रावधान जोड़ा गया।

 भारत रत्न प्रावधानों के अनुसार 1 वर्ष में केवल 3 ही लोगों को इस सम्मान के साथ पुरस्कृत किया जा सकता है।

 भारत रत्न प्रावधानों के अनुसार यह अनिवार्य नहीं है कि भारत रत्न पुरस्कार प्रतिवर्ष दिया जाए। जैसे की वर्ष 1956, 1959, 1960, 1964, 1965, 1967, 1968, 1969, 1970, 1972, 1973, 1974, 1977, 1978, 1979, 1981, 1982, 1984, 1985, 1986, 1989, 1993, 1994, 1995, 1996, 2000, 2002, 2003, 2004, 2005, 2006, 2007, 2009, 2010, 2011, 2012, 2013, 2016, 2017 और  2018 में किसी को भी सम्मानित नहीं किया गया।

 भारत रत्न सम्मान 26 जनवरी को भारत के राष्ट्रपति द्वारा दिया जाता है।

 इस पुरस्कार को प्राप्त करने वाले व्यक्ति अपने Visiting Card पर यह लिख सकते हैं :- 'राष्ट्रपति द्वारा भारत रत्न से सम्मानित' या 'भारत रत्न प्राप्तकर्ता'।

 13 जुलाई 1977 से 26 जनवरी 1980 तक इस पुरस्कार को Suspended कर दिया गया था।

 सन 2011 में भारत सरकार द्वारा भारत रत्न प्रावधानों में कुछ बदलाव किए गए। जिसके बाद खेलकूद क्षेत्र में असाधारण उपलब्धि प्राप्त करने वाले खिलाड़ियों को भी इसमें शामिल किया गया।

 भारत रत्न सम्मान से सम्मानित होने वाली First Indian Woman इंदिरा गांधी थीं।

 भारत रत्न से सम्मानित होने वाले सबसे कम उम्र के तथा खेल क्षेत्र में इस पुरस्कार को प्राप्त करने वाले इकलौते विजेता श्री सचिन तेंदुलकर हैं।

 भारत रत्न सम्मान से सम्मानित होने वाले अधिक उम्र के विजेता डी. के. कर्वे हैं। जिन्हें 100 साल की उम्र में इस पुरस्कार के साथ सम्मानित किया गया।

 1992 में नेताजी सुभाष चंद्र बोस को मरणोपरांत भारत रत्न पुरस्कार से सम्मानित किया गया। लेकिन बाद में मरणोपरांत श्रेणी के विरुद्ध एक जनहित याचिका के जवाब में सर्वोच्च न्यायालय के निर्देशों के मुताबिक उसे वापस ले लिया गया।

 सन 1954 से 2019 तक कुल 14 व्यक्तियों को मरणोपरांत भारत रत्न प्रदान किया गया।

 First Education Minister of India श्री मौलाना अबुल कलाम आज़ाद को जब भारत रत्न देने की बात आयी तो उन्होंने जोर देकर मना कर दिया। उन्होंने कहा कि जो लोग इसकी चयन समिति में रहे हों, उनको यह सम्मान नहीं दिया जाना चाहिये। बाद में 1992 में उन्हें मरणोपरांत दिया गया।

 भारत रत्न देने के संबंध में भारत रत्न प्रावधानों में ऐसा कहीं भी नहीं लिखा गया है कि यह पुरस्कार केवल भारतीय नागरिक को को ही दिया जाएगा।

 2019 तक भारत रत्न पुरस्कार खान अब्दुल गफ्फार खान (1987) और नेल्सन मंडेला (1990) इन दो विदेशियों को दिया गया है। जिनमें खान अब्दुल गफ्फार खान इस पुरस्कार को प्राप्त करने वाले पहले विदेशी हैं।

 भारत रत्न पदक का Design अंतिम बार 1955 में यानी भारत रत्न स्थापना के 1 साल बाद ही बदल दिया गया।

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